रियलएक्स ने अयोध्या प्रॉपर्टी डील के साथ कमर्शियल रियल एस्टेट में स्थापित किया नया बेंचमार्क

57 निवेशकों ने 50 हजार से 25 लाख रूपयों के बीच किया निवेश

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लखनऊ, संवाददाता।
फै्रक्शनल ओनरशिप प्लेटफार्म रियलएक्स ने हाल ही में अयोध्या में अपनी कमर्शियल लैंड प्रॉपर्टी डील को पूरा कर लिया है। इस महत्वपूर्ण उपलब्धि में 57 निवेशकों ने हिस्सा लिया, जिन्होंने संपत्ति में (प्रोपोरशनेट ओनरशिप) अधिकार प्राप्त करने के लिए 50 हजार से 25 लाख रूपयों के बीच निवेश किया। यह डील फै्रक्शनल ओनरशिप और प्रॉपर्टी टोकनाइजेशन के माध्यम से व्यापक दर्शकों के लिए उच्च-मूल्य वाली अचल संपत्ति को सुलभ बनाने की दिशा में एक कदम है। फंडबेज़ी ने इस डील में रियलएक्स को एक रणनीतिक भागीदार के रूप में सहायता की।
फै्रक्शनल ओनरशिप महंगी संपत्तियों के स्वामित्व की उच्च लागत में करता है कार्य
फै्रक्शनल ओनरशिप महंगी संपत्तियों जैसे रियल एस्टेट, याट और प्राइवेट जेट के स्वामित्व की उच्च लागत में कार्य करता है। पारंपरिक स्वामित्व के लिए महत्वपूर्ण पूंजी और रखरखाव की आवश्यकता होती है, जो अक्सर कई लोगों के लिए वहन करने योग्य नहीं होता। इन लागतों को कई निवेशकों के बीच बाँट कर, फै्रक्शनल ओनरशिप अधिक वित्तीय बोझ लिए बिना उच्च-मूल्य वाली संपत्तियों का अनुभव देता है। यह मॉडल विविधीकरण डाइवर्सिफिकेशन और जोखिम कम करने को भी बढ़ावा देता है, जिससे संभावित रिटर्न में वृद्धि होती है।
अयोध्या आज देश के सबसे तेजी से बढ़ते प्रॉपर्टी मार्केट में से एक- सीईओ
अयोध्या को चुनने पर रियलएक्स के सह-संस्थापक और सीईओ मनीष कुमार ने खुशी जताई। कहा कि अयोध्या आज देश के सबसे तेजी से बढ़ते प्रॉपर्टी मार्केट में से एक है। केंद्र और राज्य सरकारों के समर्थन से यह शहर तेजी से विकास करने के लिए तैयार है। विके्रताओं के बाजार के कारण एक प्रमुख संपत्ति हासिल करना चुनौतीपूर्ण था, लेकिन यह फै्रक्शनल ओनरशिप के लिए एकदम उपयुक्त था। इस अवसर को लोगों के सामने लाकर, हम इसे एक सहभागी निवेश की कहानी बनाना चाहते हैं।
रियलएक्स प्लेटफार्म निवेशकों को सीधे संपत्ति अधिकार प्रदान करता है
रियलएक्स फै्रक्शनल ओनरशिप प्लेटफार्म द्वारा अपनाए जाने वाले पारंपरिक एपीवी रूट से बचते हुए, निवेशकों को सीधे संपत्ति अधिकार प्रदान करता है। रियलएक्स दो ओनरशिप मोड प्रदान करता है- रजिस्टर्ड को-ओनरशिप ऑप्शन और प्रॉपर्टी टोकन (ब्लॉकचैन पर)। पहला निवेशक को संपत्ति का डायरेक्ट को-ओनर बनाता है, जबकि दूसरा साइंड लीगल नोट से टोकन में डायरेक्ट और लीगल बेनेफिशिअल राईट प्रदान करता है।
हमने चुनौती को स्वीकार कर लिया-मनीष कुमार
मनीष कुमार ने कहा कि शुरू में कई निवेशकों को उत्तर प्रदेश में एक साफ लेनदेन को निष्पादित करने, खासकर डिजिटल रूप से और फ्रैक्शनल ओनरशिप मोड में चिंताओं के कारण झिझक महसूस हुई। हमने चुनौती को स्वीकार कर लिया और निर्धारित समयसीमा के भीतर लेनदेन पूरा कर लिया, यहां तक कि प्रतिबद्धता को पूरा करने के लिए खुद एक हिस्से की सदस्यता भी ली। अब, पंजीकरण के बाद, हमारा हिस्सा भी प्लेटफार्म पर बिक्री के लिए उपलब्ध है, जो सिस्टम में विश्वास को बढ़ावा देता है।
रियलएक्स के साथ, मुझे निवेश के लिए एंट्री बेरियर 50 हजार रूपए मिली-अजय सेतिया
टोकन में निवेश करने वाले निवेशकों में से एक अजय सेतिया ने अपना अनुभव साझा किया। कहा कि अयोध्या में निवेश करने की सोच रहा था, लेकिन उच्च लागत के कारण ऐसा नहीं कर सका। रियलएक्स के साथ, मुझे निवेश के लिए एंट्री बेरियर कम यानी 50 हजार रूपए मिली। मेरा व्हाट्सएप पर रियलएक्स के संस्थापकों से परिचय हुआ और मैंने उन्हें विश्वसनीय पाया जिसने मुझे निवेश करने के लिए प्रेरित किया। संस्थापकों से प्रक्रिया के दौरान त्वरित समर्थन और सहायता ने इसे आसान बना दिया।
रियलएक्स ने अयोध्या प्रॉपर्टी डील में टोकनयुक्त बिक्री कर खुद को अग्रणी में किया स्थापित
रियल वल्र्ड एसेट में संपत्तियों का टोकनाइजेशन एक नई अवधारणा है जिसमें अपार संभावनाएं हैं। क्रिप्टोकरेंसी पर वैश्विक नियामक कार्रवाई के बाद, संपत्ति का टोकनाइजेशन ब्लॉकचेन एप्लीकेशन के रूप में व्यापक रूप से स्वीकृत हो गया है। रियलएक्स ने अयोध्या प्रॉपर्टी डील में टोकनयुक्त बिक्री प्रदान करके खुद को एक अग्रणी के रूप में स्थापित किया है।
सबसे बड़े निवेशकों ने टोकन के रूप में डिजिटल संपत्ति को चुना-सीओओ
रियलएक्स की सह-संस्थापक और सीओओ नीरा इनामदार ने बताया कि यह देखना आश्चर्यजनक था कि सबसे बड़े निवेशकों ने टोकन के रूप में डिजिटल संपत्ति को चुना। उन्होंने दोनों तरीकों पर सावधानीपूर्वक विचार किया और संपत्ति टोकन को चुना, जो डिजिटल संपत्ति की क्षमता को उजागर करता है।
200 मिलियन वर्ग फुट ग्रेड ऑफिस स्पेस फ्रैक्शनल ओनरशिप के लिए उपलब्ध
भारत में रियल इस्टेट फै्रक्शनल ओनरशिप तेजी से विकसित हो रहा है, जिसमें बाजार के 2026 तक 4,500 रूपए बिलियन तक पहुंचने की उम्मीद है। वर्तमान में 200 मिलियन वर्ग फुट ग्रेड ऑफिस स्पेस फ्रैक्शनल ओनरशिप के लिए उपलब्ध है। डेलॉयट के अनुसार, रियल एस्टेट टोकनाइजेशन का मूल्य 2022 में $2.7 बिलियन था और 2030 तक $1 ट्रिलियन तक पहुंचने का अनुमान है। बोस्टन कंसल्टिंग ग्रुप का अनुमान है कि रियल एस्टेट सहित इलिक्विड एसेट के टोकनाइजेशन का कुल आकार 2030 तक $16 ट्रिलियन तक पहुंच सकता है। भारत में रियल एस्टेट बाजार के 2030 तक $1 ट्रिलियन तक पहुंचने की उम्मीद है, जिसमें फ्रैक्शनल ओनरशिप और टोकनाइजेशन बल प्राप्त कर रहा है।
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