LUCKNOW में HDFC के रीजनल मैनेजर ने फांसी लगाकर दी जान, सुसाइड नोट से भी नहीं पता चली खुदकुशी की वजह

खुदकुशी से पहले मां से चाय बनाने को कहा, फिर छत पर कमरे में जाकर दी जान

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लखनऊ।
राजधानी लखनऊ के विनयखंड में HDFC के रीजनल मैनेजर प्रशांत शर्मा ने अवसाद की वजह से फांसी लगाकर जान दे दी थी। उन्होंने दो पन्ने का सुसाइड नोट लिखा था। इसमें इश्योरेंस से लेकर बैंक कर्ज अदा करने का तक का जिक्र था। मगर खुदकुशी का कारण नहीं लिखा था। पुलिस की पड़ताल में यह बात सामने आई है।
इंस्पेक्टर दीपक पाण्डेय ने बताया कि बुधवार को विष्णु शर्मा ने फोन कर सूचना दी थी। कमरे का दरवाजा तोड़कर प्रशांत के शव को फंदे से उतारा गया था।
इंस्पेक्टर के मुताबिक कमरे से सुसाइड नोट मिला था। इसमें प्रशांत ने इश्योरेंस के रुपयों से कर्ज उतारने की बात लिखी थी। पिता विष्णु, मां अरुणा और पत्नी वर्षिका भी प्रशांत के खुदकुशी के कारण से अनभिज्ञ हैं। पत्नी वर्षिका के मुताबिक प्रशांत काफी दिनों से गुमसुम थे। पूछने पर भी कुछ बताते नहीं थे।
दो पन्ने के सुसाइड नोट में लिखा था, अब मेरे लिए और दुख सहना मुमकिन नहीं है… अपनी जिंदगी जियो। मेरे जैसे इंसान के लिए जीवन बर्बाद करने की जरूरत नहीं। मैं इसके लायक नहीं। इंस्पेक्टर दीपक पांडेय ने बताया कि विनयखंड-4 में रहने वाले प्रशांत शर्मा एचडीएफसी बैंक की हरदोई रोड ब्रांच में तैनात थे। बुधवार शाम ड्यूटी से घर लौटने के बाद मां अरुणा से चाय बनाने के लिए कहकर छत पर बने अपने कमरे में चले गए। कुछ देर बाद चाय के लिए परिजनों के बुलाने पर भी कोई जवाब नहीं आया। इस पर उन्होंने प्रशांत को फोन किया।
सुसाइड नोट में प्रशांत ने अपने इंश्योरेंस, बैंक खातों और एटीएम के पिन से जुड़ी सभी जानकारी लिखी है। पुलिस के मुताबिक सुसाइड नोट में लिखा है कि मेरे मरने के बाद अगर कोई पैसे लेने के लिए आते हैं तो किसी को मत देना। जो मेरे लोन चल रहे हैं, वह मेरे इंश्योरेंस की रकम से चुका देना।
उसने सुसाइड को सबको मौत की वजह हार्ट अटैक बताने के लिए कहा। ताकि इंश्योरेंस की रकम मिलने में कोई दिक्कत न आए। आखिर में लिखा है कि बहुत मुश्किल है, सबको छोड़ के जाना। पर सबको अब और तंग नहीं कर सकता। माफ कर देना मुझे, खुश रहना सब लोग..अलविदा सबको। बहुत दुख दिया आप सबको, प्लीज मुझे माफ करना।

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